पिता ने चलाया रिक्शा, मां ने खेत में किया काम, फिर 21 की उम्र में IAS बन अंसार ने रचा इतिहास
हाल ही में संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) 2021 की परीक्षा का परिणाम सामने आया था. जिसमें कई परीक्षार्थियों के हाथ सफलता लगी तो कईयों के हाथ लगी निराशा. गौरतलब है कि संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) भारत में सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक मानी जाती है.
यह परीक्षा पास करने वाले उम्मीदवार देश में IAS बनते हैं. IAS बनने की कई कहानियां, किस्से आपने सुने होंगे. हालांकि आज हम आपको साल 2016 में यह परीक्षा पास करने वाले IAS अंसार अहमद शेख की कहानी से रुबरु कराने जा रहे हैं. अंसार अहमद शेख ने यह परीक्षा पास करते हुए अपने माता-पिता, परिवार और अपने जिले का नाम रौशन किया था.
अंसार अहमद शेख ने पहले प्रयास में ही UPSC 2016 परीक्षा पास कर ली थी. उनके सामने कई मुश्किलें थी, कई अड़चने थी हालांकि वे अपने लक्ष्य को प्राप्त करके ही माने. अंसार अहमद तमाम मुश्किलोंके बाद भी IAS बन गए. ख़ास बात यह रही कि उन्होंने पहले ही प्रयास में सफलता हासिल कर ली थी.
अंसार अहमद शेख की कहानी सभी को काफी प्रेरणा देने वाली है. अंसार की इस यात्रा से काफी कुछ सीखा जा सकता है. महज 21 साल की छोटी सी उम्र में अंसार अहमद शेख ने IAS बनकर इतिहास रच दिया था. वे तब देश के सबसे कम उम्र के आईएएस अधिकारी बने थे.
बता दें कि अंसार के पिता महाराष्ट्र के मराठवाड़ा क्षेत्र में ऑटोरिक्शा चलाते हैं. वहीं उनकी मां आमतौर पर खेत पर काम करती हैं. अंसार के पिता शेख अहमद ने तीन शादियां की थी. अंसार शेख की दूसरी पत्नी के बेटे हैं. बता दें कि अंसार के पिता नहीं चाहते
थे कि उनका बेटा पढ़ लिखकर आगे बढ़े. वे अपने बेटे को स्कूल जाने से रोकते थे और उनसे स्कूल छोड़ने के लिए कहा करते थे.
अंसार ने गरीबी को बड़े करीब से देखा है. उनका पूरा बचपन आर्थिक तंगी और गरीबी के बीच ही गुजरा है. वे अपने परिवार में इस मुकाम तक पहुंचे वाले अकेले शख्स है. उनकी बहनों की शादी 15 साल की उम्र में हो गई थी. एक छोटा भाई महज 7वीं कक्षा तक पढ़ा. लेकिन उनके छोटे भाई ने उनकी मदद के लिए क गैरेज में काम किया था.
अपनी अपनी सफलता के बारे में बात करते हुए अंसार शेख ने एक साक्षात्कार में कहा था कि, ”कड़ी मेहनत का कोई विकल्प नहीं है. मेरे संघर्ष के दौरान, मेरे दोस्तों ने मानसिक और आर्थिक रूप से मेरी बहुत मदद की और यहां तक कि मेरी कोचिंग ने भी मेरी खराब वित्तीय स्थिति के कारण फीस माफ किया”.