जब कलेक्टर के सिर पर चप्पल रख आर्शीवाद देने लगा बाबा , फिर जो हुआ उसे देख कर आप ..
हमारे देश में ऐसे फर्जी बाबाओं की कोई कमी नहीं है, जो कि आस्था की आड़ में ना जाने क्या-क्या करते हैं, बाबा रहीम और आसाराम जैसे बाबाओं के जेल जाने से जहां इनके गोरख धंधे उजागर हुए हैं, पर अभी भी जनता को बेवकूफ बनाने वाले बाबाओं की जमात कम नहीं है। ऐसे ही एक स्वयंभू बाबा से हाल ही में एक कलेक्टर का सामना हुआ, तो बाबा ने डिएम साहिबा की पदवी और मान मर्यादा को दर किनारे करते हुए उन्हें चप्पल से आर्शीवाद देने की कोशिश की, पर सामान्य जनता को आसानी से बेवकूफ बनाने वाले बाबा को हरकत देख डीएम साहिबा सचेत हो गई और इस बाबा को ऐसा सबक सिखाया, कि अब शायद ही ये किसी को चप्पल से आर्शावाद देने की कोशिश करे।
दरअसल ये चौंकाने वाली घटना तमिलनाडु में हुई है। जहां एक शख्स खुद को प्रतापी बाबा बताकर स्थानीय कलेक्टर के सिर पर चप्पल रखकर, उन्हें आशीर्वाद देने की कोशिश करने लगा। ऐसे में मौके पर मौजूद लोगों ने उसे तुरंत पकड़ लिया और जमकर पिटाई की। ये मामला तमिलनाडु के सलेम जिले का बताया जा रहा है, जहां सलेम की जिलाधिकारी रोहिणी रामदास और दूसरे अधिकारी जिला मुख्यालय में साप्ताहिक दिवस पर लोगों की शिकायत सुनने के लिए पहुंचे थे। इसी दौरान वहां पहुंचा एक स्वयंभू बाबा कलेक्टर के साथ ही दूसरे अधिकारियों के सिर पर चप्पल रख उन्हे आशीर्वाद देने की कोशिश करने लगा।
मीडिया में आई खबरों के अनुसार, इस घटना के समय कलेक्टर और दूसरे अधिकारी, लोगों की शिकायतों सुन रहे थे। उसी वक्त अरुमुगुम नाम का एक शख्स लाइन से बाहर निकल कर सीधा के पास डीएम साहिबा पहुंच गया और उनके सिर पर चप्पल रखने की कोशिश करने लगा। वहां मौजूद पुलिसकर्मी के अनुसार, जैसे ही स्वयंभू बाबा ने चप्पल उतार उसे जिलाधिकारी के सिर पर रखने की कोशिश की, डीएम साहिबा ने उसके इरादे भांप लिए और तुरंत अपने स्थान से हट गईं। ऐसे में बाबा उनके सिर पर चप्पल नहीं रख सका। इसके बाद उसने दूसरे अधिकारियों के सिर पर भी चप्पल रखने की कोशिश की, तभी ये पूरा घटनाक्रम को देख रही भीड़ ने बाबा को पकड़कर उसकी जमकर धुनाई शुरू कर दी। हालांकि मौके पर मौजूद पुलिस ने उसे भीड़ के कब्जे से छुड़ाकर पुलिस थाने को सौंप दिया।
वहीं खबरों की मानो तो ये शख्स पहले भी ऐसी हरकत कर चुका है। स्थानीय लोगों का कहना है कि खुद को पहुंचा हुआ बाबा बताने वाला शख्स अक्सर लोगों के सिर पर चप्पल रख उन्हें आशीर्वाद देता था। यहां तक कि इससे पहले वो दूसरे जिलाधिकारी के सिर चप्पल रखने की कोशिश भी कर चुका है। ऐसे में इस बार हुई कार्यवाई से निश्चित तौरपर इस स्वयंभू बाबा को सही सबक मिला है। वैसे हमारे यहां अंध विश्वास के चक्कर में ऐसे लोगों को बढ़ावा देने वाली जनता भी कहीं ना कहीं इस तरह की घटनाओं के लिए जिम्मेदार है,अगर लोग जागरूक हो तो ऐसे फर्जी बाबाओं को अस्तित्व ही खत्म हो जाए।