जान लीजिए घर के मंदिर में पूजा करने की सही विधि, तभी मिल पायेगा देवी-देवताओं का आशीर्वाद
वैसे ज्यादातर लोग अपने घर के मंदिर में पूजा पाठ तो अवश्य करते हैं, हमारे भारतीय समाज में अगर कोई भी शुभ कार्य किया जाता है तो सबसे पहले पूजा पाठ करना अनिवार्य माना गया है ताकि जो कार्य हम कर रहे हैं वह ठीक प्रकार से पूरा हो सके और उस कार्य में किसी भी प्रकार की बाधाएं उत्पन्न ना हो पाए, अक्सर लोग अपनी इच्छा अनुसार जैसा ठीक लगता है वैसे पूजा पाठ कर लेते हैं परंतु यह सही नहीं माना गया है, शास्त्रों में इस बात का उल्लेख किया गया है कि अगर व्यक्ति पूजा पाठ करता है तो सबसे पहले उसको पूजा पाठ के नियमों के बारे में जानकारी होना बहुत ही आवश्यक है, अगर व्यक्ति ठीक प्रकार से पूजा पाठ नहीं करता है तो उसको अपने द्वारा की गई पूजा का फल नहीं मिल पाएगा, ठीक ढंग से पूजा ना करने की वजह से व्यक्ति को इसका बुरा परिणाम भुगतना पड़ सकता है।
आज हम इस पोस्ट के माध्यम से पूजा पाठ करने की सही विधि पर प्रकाश डालने वाले हैं, जिनपर आप अवश्य गौर कीजिए ताकि आपको अपनी पूजा का फल मिल पाए और देवी-देवताओ का आशीर्वाद आपके ऊपर हमेशा बना रहे।
चलिए जानते हैं पूजा-पाठ के नियमों के बारे में
- अगर आप पूजा पाठ कर रहे हैं तो सबसे पहली बात आपको यह ध्यान में रखनी होगी कि मंदिर का स्थान घर के हमेशा पूर्व उत्तर दिशा में रखना चाहिए और जो आप अपने घर में छोटा सा मंदिर स्थापित करेंगे वह लकड़ी का बना होना जरूरी है और आप अपने मंदिर को साफ सुथरा रखें।
- आप अपने घर के मंदिर का रंग हमेशा हल्का नारंगी या पीले रंग का रखिए, आप भूलकर भी घर के मंदिर का रंग नीला मत रखिए।
- आप अपने घर के मंदिर में भगवान श्री गणेश और धन की देवी माता लक्ष्मी जी की प्रतिमा या तस्वीर अवश्य रखिए, आप अपने घर के मंदिर में अपने इष्ट देव और अपने कुल गुरु की तस्वीर रखें, आप अपने घर के मंदिर में हमेशा हल्के लाल और पीले रंग का वस्त्र नीचे बिछा कर रखें और जल रखने का पात्र तांबे का होना चाहिए, आप तांबे के लोटे में गंगाजल भरकर रखें।
- जब आप अपने घर के मंदिर में पूजा पाठ करते हैं तो आप हमेशा पूर्व या उत्तर दिशा की तरफ अपना मुंह करके पूजा कीजिए क्योंकि इस दिशा में पूजा करने से आपके मन में उत्साह उत्पन्न होता है, पूजा पाठ करने के लिए सर्वप्रथम मंदिर में भगवान की मंगल मूर्ति की स्थापना कीजिए, उसके पश्चात पूजा-पाठ कीजिए, आप किसी भी भगवान की मूर्ति स्थापित कर रहे हैं तो आप उस तस्वीर के समक्ष घी का दीपक और धूप अवश्य जलाएं और उसके साथ ही जल से भरा हुआ पात्र रखना ना भूलें।
- अगर आप पूजा पाठ कर रहे हैं तो आप अपना पूरा ध्यान पूजा पाठ में केंद्रित कीजिए, आप इधर-उधर की बातों पर ध्यान ना दें, पूजा पाठ में बैठने के लिए आप साफ सुथरे वस्त्रों का धारण ही करें और हमेशा साफ और शुद्ध फलों का प्रयोग कीजिए, पूजा पाठ में जो दीपक आप जलाएंगे उसमें गाय के घी का इस्तेमाल करें, यह बहुत ही उत्तम माना गया है।
- आप पूजा-पाठ लाल और पीले रंग के आसन पर बैठकर ही कीजिए और मंत्रों का जाप करने के लिए लाल चंदन या फिर रुद्राक्ष की माला का प्रयोग कीजिए।